रवीश कुमार की फैन फालोइंग तमाम डिस्टर्ब , तमाम तबाह , परेशान लोगों की वैसे ही तो है नहीं है। कुछ तो बात है । सारी निगेटिव खबरें इन की खुराक हैं। कभी ठंडे दिमाग से सोच कर देखिए कि रवीश कुमार…
एनडीटीवी को देखें तो सबसे निचले स्तर पर पहुंच चुका था। एकदम मनहूस मृत सा हो गया था एनडीटीवी। क्यों ऐसा हुआ? दर्शकों का तो भर भर कर आभार प्रकट कर रहे हैं। रविश कुमार जब दर्शकों की कमी ही नहीं…
एन डी टी वी में ब्लैक मनी भी ख़ूब चलती रही है। इसी ब्लैक मनी के चलते प्रणय रॉय ने देश का माहौल बहुत ख़राब किया है। एजेंडा पत्रकारिता के नफ़रत की बयार बहाई। माहौल जहरीला बनाया।
अगर रवीश कुमार , उन की एजेंडा पत्रकारिता और उन का प्राइम टाइम नहीं होता तो यह तमाम परेशान , बीमार और कुंठित लोग कहां जाते भला। कौन सी दवा खाते , किस के कंधे पर अपना सिर रखते , रोते और अपना…
द वायर मीडिया कन्सोर्टियम के जिस रिपोर्ट को लेकर बुलेटिन निकाल रहा है वह रिपोर्ट तैयार करने में भारत के तरफ से किसने रोल किया? तो जवाब है स्वयं द वायर ने। आप कह सकते हैं कि द वायर ने अपने…
रिश्वत मांगने वालि कार्यक्रम अधिकारी सुरेश सिंह कुछ अन्य अधिकारियों और पुलिस के साथ आज संस्था पहुंचा था। उन्होंने पीड़ित बच्चियों के मामले को देख रहीं अधिवक्ता प्रियंका शुक्ला, संस्था की…