Positive India: Rajesh Jain Rahi:
आदर्श आचार संहिता से प्रभावित होकर श्रीमती ने आदर्श परिवार संहिता का ऐलान किया।
खुद को प्रधानमंत्री पद देते हुए एवं राष्ट्रपति पद को गैरजरूरी बताते हुए मुझे ‘मुख्य सचिव’ पद प्रदान किया।
नयी व्यवस्था के तहत, निर्णय लेने का अंतिम अधिकार प्रधानमंत्री को दिया गया। सभी योजनाओं के क्रियान्वयन एवं उचित धन की व्यवस्था का प्रभार ‘मुख्य सचिव’ को मिला।
अब समय पर उठना, समय से ऑफिस जाना, प्रधानमंत्री के हितों का ध्यान रखना, मुख्य सचिव के मुख्य कार्य घोषित हुए।
फालतू खर्च पर, पूरी तरह अंकुश लगा दिया गया,
शराब तो छोड़िए, सिगरेट का पैकेट भी छीन लिया गया।
दो दिनों में एक जोड़ी कपड़े के उपयोग की नसीहत के साथ,
कार का प्रयोग सिर्फ प्रधानमंत्री के साथ रहने पर ही करने का कठोर निर्णय किया गया।
औचक निरीक्षण का अधिकार भी प्रधान मंत्री के हिस्से आया, काम की गति धीमी होने पर सभी भत्तों पर पाबंदी लगेगी कह कर पहले तो मुझे यानि मुख्य सचिव को जम कर धमकाया।
फिर ‘जानू जानू’ कहकर पास बुलाकर श्रीमती ने फैसले पर मेरा दस्तखत करवाया और कल से आदर्श परिवार संहिता के पालन करने का हुक्म सुनाया।
लेखक:राजेश जैन राही, रायपुर