बलात्कारियों का एनकाउंटर महिला सुरक्षा की दिशा में उठाया गया सही कदम
इस एनकाउंटर से पीड़िता की आत्मा को मिलेगी शांति
Positive India:Dr.Chandrakant Wagh:
एनकाउंटर एक ऐसा शब्द है जिसका आज सही इस्तेमाल किया गया । हैदराबाद वाले केस मे पूरा देश उद्वेलित था । लोगो को कानून व्यवस्था पर ही विश्वास उठ रहा था। इस देश के कानून का इन दरिंदो ने बहुत फायदा उठाया । वही इनकी मदद देश मे मौजूद तथाकथित ह्यूमन राइट्स वालो ने भी की । यह सफेदपोश लोग इनके सहयोग के लिए हर समय मुस्तैद रहे है । इसलिए कानूनी रूप से ये लोग पीड़ित लोगो से भी बीस ही बैठते है ।
तथाकथित ह्यूमन राइट्स वाले लोग राजनीतिक रूप से इतने शक्तिशाली होते है कि रात को भी सुप्रीमकोर्ट को खुलवाने की हैसियत रखते है । इनकी खासियत है कि समाज मे, देश मे, अपराधीयो व आतंकवादीयो की फसल लहलहाने मे इन लोगो का महती योगदान है । ह्यूमन राइट्स के नाम पर इनका ध्येय देश को नुकसान पहुंचाने का ही रहा है । लोकतंत्र और ह्यूमन राइट्स का दुर्भाग्य से ये तथाकथित लोग बेजा दुरूपयोग कर रहे है । ऐसे ही मामले मे इनकी दुकान चलती है ।
पहली बार किसी मामले मे ऐसी तुरंत कार्रवाई हुई है । इसलिए देश पूरा खुश है । क्या कारण है इन लोगो को न्याय के नाम से पालते रहो । यही बात अगर इस देश ने हाफिज सईद, मसूद अजहर आदि के मामले मे की होती तो इतनी आतंकवादी घटनाओ को ये लोग अंजाम नही दे पाते । अब समय आ गया है जैसे को तैसा ।
आतंकवादी घटनाओं में कमी तो आई ही है। नही तो एक समय ऐसा भी था जहाँ सियासतदान आतंकवादी के मरने पर रो रो के सो नही पाते थे । उनके आंसू थमने का नाम नही लेते थे । वही कुछ लोग मारी गई आतंकवादी को अपने प्रदेश की बेटी बनाने से बाज नही आये । ऐसे लोगो के राज मे कहाँ कानून व्यवस्था अच्छी बने रह सकती थी । अगर नेतृत्व सदृढ हो तो ऐसे लोगो को ऐसे ही मौत नसीब होती है । नही तो पहले केस लंबा चलता और लोग भूल भी जाते थे । वही दशको चलने वाली या रेंगने वाली न्याय व्यवस्था के चलते ये महानुभाव लोग अपनी सजा ही पूरी कर लेते थे ।
इस लिए तुरंत इस तरह की कार्रवाई से देश का बहुत बड़ा संसाधन जहा जाया होने से बच जाता है वही न्याय को लचीला समझकर दूसरे भी इससे प्रेरित हो जाते है । यही कारण रहा है इन दरिंदो को सजा का खौफ ही नही रहा था । वही पीड़ित भी न्याय मांगते मांगते थक जाता है पर हमारा सिस्टम ऐसा है कि पूरी न्याय प्रक्रिया आरोपी के साथ ही खड़ी दिखाई देती है । लोग तंग आ गये इसलिए हैदराबाद के पुलिस के साथ खड़े दिख रहे है । वेलडन हैदराबाद पुलिस ।
लेखक:डा.चंद्रकांत वाघ