www.positiveindia.net.in
Horizontal Banner 1

अनुसूचित जनजाति और अन्य परंपरागत वननिवासियों को उनका हक मिले :मंत्री डॉ. प्रेमसाय सिंह टेकाम

आदर्श आश्रम एवं छात्रावास भवनों की गुणवत्ता पर रखें निगरानी

Ad 1

पॉजिटिव इंडिया: रायपुर,04 फरवरी 2021
आदिम जाति तथा अनुसूचित जाति विकास मंत्री डॉ. प्रेमसाय सिंह टेकाम ने आज मंत्रालय (महानदी भवन) में विभागीय कार्यों की समीक्षा करते हुए कहा कि वन अधिकार अधिनियम के तहत अनुसूचित जनजाति और अन्य परंपरागत वननिवासियों को उनका हक मिले। वन अधिकारों की मान्यता के लिए नए प्रकरणों की स्वीकृति के साथ ही निरस्त किए गए दावों का पुनर्विचार किया जाए। उन्होंने बैठक में उपस्थित जिलों के सहायक आयुक्तों को निर्देश दिए कि निरस्त किए दावों की सूचना व्यक्तिगत रूप से संबंधितों को दे और उनकी पात्रता-अपात्रता का कारण भी बताएं। जिलों में निरस्त हुए दावों की समीक्षा का कार्य हर हाल में फरवरी माह तक पूरा कर लिया जाए।
मंत्री डॉ. टेकाम ने कहा कि मुख्यमंत्री श्री भूपेश बघेल की मंशानुसार अबूझमाड़ क्षेत्र में विशेषतौर पर वन अधिकार पत्र दिए जाने हैं। बैठक में उपस्थित अधिकारियों ने बताया कि अबूझमाड़ क्षेत्र में सर्वे का काम हो रहा है। खसरा-नक्शा बनाकर शासन को स्वीकृति के लिए भेजा जाएगा। मंत्री डॉ. टेकाम ने कहा कि प्रदेश में आदर्श छात्रावास-आश्रम भवन निर्माण के 80 कार्य स्वीकृत किए गए हैं। इन सभी का निर्माण कार्य गुणवत्ता के साथ समय-सीमा में पूर्ण किया जाए। अधिकारियों ने बैठक में बताया कि प्रदेश के बस्तर, कांकेर, कोण्डागांव, नारायणपुर, बीजापुर, सुकमा, दंतेवाड़ा जिलों में 10-10 और गरियाबंद तथा धमतरी जिले में 5-5 आदर्श छात्रावास-आश्रम भवन निर्माण कराया जा रहा है।
मंत्री डॉ. टेकाम ने समीक्षा बैठक को सम्बोधित करते हुए कहा कि वन अधिकार मान्यता पत्रों का वितरण मुख्यमंत्री के मंशानुरूप किया जाना है। उन्होंने कहा कि वन अधिकार अधिनियम क्रियान्वयन ने कुछ जिलों में अच्छा काम किया है। जिलों के सहायक आयुक्त बैठक में दिए गए निर्देशों का कड़ाई से पालन करें। डॉ. टेकाम ने कहा कि श्री भूपेश बघेल के नेतृत्व में सरकार बनने के बाद से लगातार वन अधिकार पत्रों को व्यक्तिगत और सामुदायिक दावों का वितरण करने में सभी ने सहयोग किया है। निरस्त दावों का परीक्षण कर सही आंकड़ों का दस्तावेज संधारित करना है। उन्होंने कहा कि एकलव्य विद्यालय का संचालन सभी की जिम्मेदारी है। सी.बी.एस.ई. के मापदंडों का विद्यालय को चलाने के लिए सभी प्रकार के संसाधनों से संस्था को पूर्ण करने के लिए आवंटित बजट का सही उपयोग किया जाना चाहिए।
आदिम जाति तथा अनुसूचित जाति विकास विभाग के सचिव श्री डी.डी. सिंह ने जिलों के सहायक आयुक्तों को निर्देशित किया कि प्रदेश में 50 नए एकलव्य विद्यालयों के भवनों के निर्माण की स्वीकृति दी गई है, इसके लिए भूमि का चिन्हांकन और आवंटन करा लें। इसके साथ ही इस वर्ष खुलने वाले एकलव्य विद्यालय और ऐसे पुराने एकलव्य विद्यालयों के भवन निर्माण के लिए भी जमीन का चिन्हांकन और आवंटन करा लिया जाए। उन्होंने कहा कि अनुसूचित जाति एवं जनजाति अत्याचार निवारण अधिनियम के तहत जिला एवं अनुभाग स्तर पर बैठकों का नियमित आयोजन अनिवार्य रूप से सुनिश्चित करें। संवेदनशील क्षेत्रों की विशेषतौर पर समीक्षा की जाए। सचिव डी.डी. सिंह ने जाति प्रमाण पत्र में आ रही कठिनाईयों के लिए जिले के सहायक आयुक्तों को निर्देश दिए कि मात्रात्मक त्रुटि के अलावा अन्य प्रकार की समस्याओं के लिए जिलेवार जातियों की सूची बनाकर शासन स्तर पर विभाग को जानकारी दें। निर्माण कार्यों के पूर्णता प्रमाण पत्र समय पर प्रस्तुत किए जाएं ताकि आगामी राशि प्राप्त हो सके।
संचालक आदिम जाति तथा अनुसूचित जाति विकास विभाग शम्मी आबिदी ने कहा कि प्रधानमंत्री आदर्श ग्राम योजना में लम्बित कार्यों को शीघ्र पूर्ण करें। उन्होंने बताया कि इस योजना के तहत जिस जिले में व्यवसायिक प्रशिक्षण कार्यकर्ता (व्ही.टी.पी.) का कार्य सबसे अच्छा होगा उसे पुरस्कृत किया जाएगा।

Gatiman Ad Inside News Ad
Horizontal Banner 3
Leave A Reply

Your email address will not be published.