बड़े मंदिर मे दसलक्षण पर्युषण महापर्व पर उत्तम मार्जव दिवस मनाया गया
"विनय मोक्ष का द्वार है, "ब्रह्मचारी पं.अंशुल शास्त्री
Positive India:Raipur:
श्री आदिनाथ दिगम्बर जैन बड़ा मंदिर पंचायत ट्रस्ट मालवीय रोड मे पर्वाधिराज दसलक्षण पर्युषण महापर्व के अवसर पर आज दूसरा दिन 20 सितंबर 2023 भाद्रप्रद शुक्ल पक्ष तिथि पंचमी वीर निर्वाण संमवत २५४९ बुधवार के दिन उत्तम मार्जव दिवस मनाया गया। ट्रस्ट कमेटी के अध्यक्ष संजय नायक एवं सचिव राजेश रज्जन जैन ने बताया की प्रतिदिन की तरह आज प्रातः 7 बजे 12 वे तीर्थंकर श्री वासुपूज्य भगवान का 4 स्वर्ण कलशो सें अभिषेक किया गया।
आज के प्रथम अभिषेक का सौभाग्य सभी इंद्र प्रिंस मनोज जैन, कीर्ति जैन, विमल जैन, मनोज जैन को प्राप्त हुआ। आज की रिद्धि सिद्धि प्रदाता प्रथम शांति धारा करने का सौभाग्य अजय कुमार, विजय कुमार नायक को प्राप्त हुआ । तत्पश्चात श्री जी की आरती एवं सामूहिक पूजन किया गया। आज के कार्यक्रम मे बड़ी संख्या मे महिलाये, बच्चे, युवा सभी उपस्थित थे ।
सांगानेर राजस्थान सें आये विद्वान ब्रम्चारी पं. अंशुल शास्त्री ने अपने वक्तव्य मे बताया कि विनय मोक्ष का द्वार है। मृदोर्भावः मार्दवम् । मृदुता का भाव मार्दव है। विनय का अभाव ही घमंड को जन्म देता है और घमंड जहां नहीं होता वहीं मार्दव होता है। बड़ों का आदर करना विनय हैं । मैं का भाव ही अहंकार है।
मार्दव धर्म धारण करने से हमे गुरु अनुग्रह, साधु वात्सल्य, विद्या प्राप्ति और सम्मान की प्राप्ति होती है । अगर बात करें घमंड की तो जो भी व्यक्ति घमंड से सहित होता है तो वह किसी से भी कुछ प्राप्त नही कर पाता है । यह धर्म अगर जीवन में चाहते हो तो अपने आप को किसी भी वस्तु का कर्ता मत मानो। सदैव दूसरों के गुणों की प्रशंसा करें। जिंदगी में जिनने भी आपके प्रति उपकार किए हैं, उनका स्मरण जरूर करें प्रतिदिन। इन सभी नियमों का पालन हमारे जीवन में विनय को लाएगा और विनय के आने से मोक्ष का मार्ग प्रशस्त होगा ।
अध्यक्ष श्री संजय जी बताया की धार्मिक के अलावा सांस्कृतिक कार्यक्रम का आयोजन किया गया है, जिसमे 20 सितम्बर को सांगानेर ब्रम्चारी पं. अंशुल भैया द्वारा जानिए धर्म को, 21 को महावीर मण्डल फाफाडीह द्वारा संस्कारी बहु नाटिका का कार्यक्रम रखा गया है । यह सभी कार्यक्रम जैन बड़ा मंदिर पंचायत ट्रस्ट एवं महिला मण्डल द्वारा बड़े मंदिर के विद्या सागर हाल मे आयोजित किया जा रहा है साथ ही साथ बड़े मंदिर मे पूरे दस दिनों में बाहर से आए साधर्मी व्यापारी बंधु, छात्र छात्राएं एवं स्थानीय लोग उनके लिए शुद्ध सात्विक भोजन की व्यवस्था भी बड़े मंदिर मे रखी गई है 19 सितम्बर को कुल 52 लोगो ने इसका लाभ लिया है